रविवार, 11 फ़रवरी 2018

साजन तुम बोल देना

साजन अब तुम बोल देना 
     तुम कहते हो साथ बहुत है
     पर घडिया अब भी रुकी नहीं
     करुणा वाला सन्देश तुम दे जाना
     मैं दूर तलक यु आउंगी 
    मेरा उन्वान भी तुम और अंत भी तुम
    बस होठो पे सजा लेना
    प्रेम तो तुमको है हमसे ?
    पर मेरा प्रेम जगजाहिर है
    कह दो सबसे तुम मेरे हो
    मेरे हक़ में अब तुम भी बोल देना
    साजन अब तुम बोल देना
    तुम्हारी सादगी पे मैं फ़िदा
    इसको तुम अब छेड़ो ना
    दिलो में हमारे फर्क नहीं
   तो रुस्वाई से भी कोई डर नहीं
   रफ़्तार में भी गर तुम साथ रहो
   तो मृत्यु से भी भय नहीं
   जब रुकना आभुषण लाना
   तब मैं श्रृंगार करू
   अभी तो मुझे तुम साथ रखो
   बस किरणों से काम चला लुंगी
   रुकना तो तुम अनुराग सा राग देना
   मुझे जन-रुस्वाई से बचा देना
   बस अपने नाम से मेरा नाम जोड़ देना
   साजन तुम बोल देना |

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